भैरव सेना ने जिहादी आतंकवाद के पुतले को किया दहन ।
‘ शैलेन्द्र कुमार पाण्डेय।8210438343,9771609900
देहरादून 2 जुलाई 2022।भैरव सेना के दर्जनों कार्यकर्ता राजस्थान के उदयपुर में हुए जघन्य हत्याकांड के विरोध में आक्रोशित होकर लैंसडाउन चौक पर महानगर संयोजक सुमित देवरानी के नेतृत्व में एकत्र हुए, तथा उग्र नारेबाजी करते हुए गांधी पार्क के मुख्य द्वार पर पहुंचे। जहां उन्होंने जिहादी आतंकवाद के पुतले को दहन किया।
विरोध प्रदर्शन में उपस्थित संगठन के केंद्रीय अध्यक्ष संदीप खत्री ने बताया की उदयपुर में कन्हैया लाल की हत्या भारत में पनप रहे जिहादी आतंकवाद को दर्शा रही है, और उन पर अंकुश लगाना आवश्यक हो गया है। जिसके लिये उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की तर्ज पर पकड़े गए हत्यारों तथा उनके सहयोगियों के घरों को बुलडोजर से ध्वस्त कर उनके परिवारों की भारतीय नागरिकता समाप्त कर देनी चाहिए। ताकि निकट भविष्य में कोई भी आतंकवादी गतिविधि करने से पहले परिणामों पर विचार कर सके।
साथ ही पकड़े गये मुख्य आरोपीयों को बिना ट्रायल के अरब देशों की तर्ज पर बीच चौराहे पर क्रेन पर लटका कर फांसी की सजा सुनाई जाए।
संगठन के प्रदेश युवा मोर्चा संयोजक करण शर्मा ने कन्हैया लाल की जघन्य हत्या पर राजस्थान सरकार को बर्खास्त करके वहां पर राष्ट्रपति शासन लगाने की भी मांग की।
वहीं क्षेत्रीय ज्वलंत मुद्दे पर प्रदेश सचिव संजय पंवार के नेतृत्व में सदर अधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री उत्तराखंड पुष्कर सिंह धामी को मांग पत्र सौंपा गया। जिसमें धर्म स्थलों पर कर्णभेदी लाउडस्पीकरों को शासनादेश जारी कर प्रतिबंधित किये जाने की मांग की गई। क्योंकि क्षेत्रवासी जब भी कानूनी कार्यवाही के चलते लाउड स्पीकरों को बंद करवाते हैं, तभी कुछ बदले की भावना रखने वाले मानसिकता के लोग कानून का सहारा लेकर ही दोबारा से मनगढ़ंत बातों के माध्यम से अनुमति ले आते हैं। जिससे धर्मस्थल के डेढ़ किलोमीटर के दायरे के लोग अनावश्यक रूप से परेशान हो रहे हैं।
कार्यक्रम में उपस्थित देवेंद्र डोभाल ने बताया कि हमारे द्वारा पूर्व में भी कई बार धर्म स्थलों से लाउडस्पीकर हटाने की कार्यवाही कानूनी रूप से की गई। परंतु घटना के 2 दिन के अंतराल में ही दोबारा अनुमति के द्वारा मापदंडों की अनदेखी के लाउडस्पीकर लगा दिया जाते हैं। सोनू मूछ ने कहा कि यह समस्या अब सिर्फ क्षेत्रीय स्तरीय नहीं बल्कि राज्य स्तरीय बन चुकी है। जितेन्द्र राठी ने कहा कि वर्तमान सरकार को वोट हमने भी दिया है तथा सरकार बनाने में हमारा भी योगदान है तो सिर्फ विशेष संप्रदाय को खुश करने का प्रयास कर हमें पीड़ित क्यों बनाया जा रहा है। संजीव टांक ने कहा कि अब हमारी मांग पर तत्काल कार्यवाही नहीं हुई तो संगठन को क्षेत्रीय वासियों सहित राज्य स्तरीय आंदोलन के लिये मजबूर होना पड़ेगा।
आक्रोश कार्यक्रम में मुख्य रूप से उपरोक्त लिखित वक्ताओं पान सिंह रावत, सहित सरोज शाह, सिमरन रमोला, काजल चौहान, काजल सूद, बलबीर, रंजीत पाठक मोहित तिवारी राजकुमार सिंह अमित तनेजा सहित सैकड़ों कार्यकर्ता उपस्थित रहे।